बिरोदा में एक दिवसीय कबड्डी प्रतियोगिता संपन्न, पौता रही विजेता।
अतिथियों ने कहा यह खेल हमेशा एकजुट रहने व संघर्ष करने का प्रेरणा देती हैं ।
मोर अभनपुर
मारुति कबड्डी दल बिरोदा द्वारा एक दिवसीय कबड्डी प्रतियोगिता का आयोजन को किया गया।इस अवसर पर मुख्य अतिथि के तौर पर चिन्मय फाऊंडेशन के संस्थापक चिन्मय दावड़ा, जिला पंचायत सदस्य सौदागर सोनकर, सरपंच वासुदेव साहू, जनपद सदस्य राजेश साहू शामिल हुए।
प्रतियोगिता में अंचल सहित अन्य क्षेत्रों के विभिन्न टीमों ने भाग लिया इस टूर्नामेंट में ग्राम पौता प्रथम स्थान प्राप्त किया वही दूसरे स्थान पर तूता एवम तीसरे में खट्टी और चौथे स्थान पर ग्राम जुलुम रही। विजेता टीमों को नगद पुरस्कार एवम स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया।
उपस्थित अतिथियों ने कहा कि कबड्डी खेल भारतीय संस्कृति व भारतीय खेलों का अभिन्न अंग है, इस तरह के खेल समय-समय पर होते रहने चाहिए। कबड्डी का खेल रोमांच का खेल है जिसमे खिलाड़ियों को अपनी ताकत के साथ साथ बुद्घिमता का भी प्रदर्शन करना होता है इस खेल से न सिर्फ शारीरिक क्षमता में वृद्घि होती है बल्कि बौद्घिक क्षमता में भी विस्तार होता है। यह खेल हमेशा एकजुट रहने व संघर्ष करने का प्रेरणा देता युवाओं को इस ऐसी प्रतियोगिताओं में अपनी हिस्सेदारी सुनिश्चित करनी चाहिए साथ ही फिट रहने के लिए प्रतिदिन योगा व व्यायाम, दौड़ना एवं खेलकूद करते रहना चाहिए। मुख्य अतिथियों ने विजेता टीमों को बधाई दिया और आयोजन समिति के इस सहरानीय प्रयास की प्रशंसा की।उक्त प्रतियोगिता को सफल बनाने स्थानीय जनप्रतिनिधि सहित आसपास के व्यसायिक लोगो ने भरपूर सहयोग प्रदान किया।
इस अवसर पर लौटन गिलहरे, चेतन साहु , खिलेश, तीरथ, कुंदन, चंदू, राजा, गीतांसु, मिथिलेस्, देवा ध्रूव, राजकुमार, पंच रमेश, चेतन (सोनू), द्रोण साहू, किरण, अभय, यशवंत, कुमेश्वर, मिथिलेश ध्रुव, कुंदन,राकेश, पवन, मुकेश, शेखर, जीतू (युसूफ), प्रेमलाल, श्याम, लुपेश, चंद्रहास, तरुण, रोशन, तुकेश, अशोक, डागेश्वर, तोमेश, तिलोचन, छन्नू, धनेन्द्र, दुर्गेश, लितेश, टोमेश, नुतेश, वेदप्रकाश, चंद्रशेखर, शेखरदास, फुलेंन्द्र, भेषण, योगेश ध्रुव, देवा ध्रुव, करण, आकाश, अमित, एमन, गजेन्द्र, संजय, तिलक, डोमेश्वर, पुष्पेन्द्र, गितेश, हेमलाल, टिकेश्वर, देवेन्द्र, महेन्द्र, पारस, हीरु, गोविंद, लक्की, मानू, विनोद, उगेश, बंटी, निमेश, दिनेश, दुलेश्वर, नरेन्द्र, राजकिरण, गौरीशंकर, छत्रपाल, महेश, इंद्रजीत, प्रकाश, हरीश, विनोद, मोला, रवि, डगेश, किशन, पूनम, चुनेश्वर, दीन्ना, गिरवर, गोल्डी, मुलचंद, शरद, सागर, हेमंत (लाला), डिगेश्वर, लीशम, मोज ध्रुव, तोमेश, महेश्वर, ईश्वर, नंदू, धर्मेश, चंदन, नारद, भुपेश, नोमेश सहित बड़ी संख्या में ग्रामवासी उपस्थित रहे।